विश्व मात्स्यिकी दिवस पर सिफरी द्वारा मत्स्य जाल का वितरण
प्रयागराज , 21 नवम्बर, 2022
विश्व मात्स्यिकी दिवस, 21 नवम्बर 2022, के अवसर पर भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद- केन्द्रीय अन्तर्स्थलीय मात्स्यिकी अनुसंधान संस्थान (सिफरी), प्रयागराज के द्वारा एक जन जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यह कार्यक्रम पवित्र पावन गंगा तट पर स्थित माण्डा के नरवर चैखट्टा, गाँव के पास स्थित मछुआरों के बस्ती में सम्पन्न हुआ। इसमें मछुआरों को नदियों और मछलियों के बारे में जागरूक किया गया तथा जीविकोपार्जन के लिए सक्रिय मछुआरों को उचित आकार का सम्मुन्नत जाल दिया गया। संस्थान के केन्द्राध्यक्ष डा० डी एन झा ने उपस्थित लोगों को नमामी गंगे परियोजना के बारे में जानकारी दी साथ ही लोगो को गंगा के जैव विविधता, मत्स्य संरक्षण और स्वच्छता के बारे में जागरूक किया।

कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में श्री राजेष शर्मा, संयोजक गंगा विचार मंच, प्रयागराज ने भाग लिया। उन्होने गंगा को बचाने के लिए उपस्थित लोगों से आह्वान किया। इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि के रूप में श्री मानबेन्द्र सिंह, पूर्व अधिकारी, भारतीय खाद्य निगम, भारत सरकार ने भाग लिया और सभा को सम्बोधित किया। उन्होने सम्बोधन में कहा कि गंगा है तो मानव सभ्यता है। इसलिए सभी को गंगा के प्रति जागरूक होना चाहिए साथ ही गंगा को स्वच्छ रखने का संकल्प व्यक्त किया। संस्थान द्वारा विश्व मात्स्यिकी दिवस के अवसर पर सक्रिय एवं आर्थिक रूप से कमजोर मछुआरों को मछली पकड़ने के लिए जाल वितरित किया गया। मछुआरों से आग्रह किया गया कि आखेट के दौड़ान छोटे आकार के भारतीय प्रमुख कार्प को जाल से न पकड़े और जाल में फसने पर पुनः पानी में छोड़ दें। जिससे नदी में इन मछलियों की संख्या बढ़ेगी और नदी को स्वच्छ रखने में सहायता होगी।

कार्यक्रम में गंगा विचार मंच, आस-पास गाव के मत्स्य पालक, मत्स्य व्यवसायी तथा गंगा तट पर रहने वाले स्थानीय लागों ने भाग लिया। कार्यक्रम के अन्त में संस्थान के वैज्ञानिक डा० वेंकटेष ठाकुर ने धन्यवाद ज्ञापन किया। डा० संदीप मिश्रा, श्री सुषील कुमार वर्मा, श्री जितेन्द्र कुमार, श्री राम सजीवन आदि संस्थान के कार्मिकों ने कार्यक्रम में भाग लिया तथा सभी को सम्बोधित किया ।





यह वेबसाइट भाकृअनुप-केन्द्रीय अन्तर्स्थलीय मात्स्यिकी अनुसंधान संस्थान, भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद, कृषि अनुसंधान और शिक्षा विभाग, कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय, भारत सरकार के तहत एक स्वायत्त संगठन से सम्बंधित है। कॉपीराइट @ 2010 आईसीएआर, यह वेबसाइट 2017 से कृषि ज्ञान प्रबंधन इकाई द्वारा विकसित और अनुरक्षित है।
अंतिम बार1 22/11/22 को अद्यतन किया गया